चीफ की मौत के बावजूद हिजबुल्लाह में मजबूती बनी हुई है, और इजरायल पर पलटवार की तैयारी शुरू हो चुकी है, उनकी ताकत कितनी है?…

सैयद हसन नसरल्लाह की हत्या कर हिजबुल्लाह की कमर तोड़ चुके इजरायल के हौसले इन दिनों काफी बुलंद हैं।

इजरायल यदि ऐसा सोच रहा है कि उनसे हिजबुल्लाह के लीडर को खत्म कर हिजबुल्लाह के खिलाफ अपनी जंग जीत ली है, तो ऐसा बिल्कुल भी नहीं है।

ऐसा बताया जा रहा है कि हिजबुल्लाह इजरायल के खिलाफ एक लंबे युद्ध की तैयारी कर रहा है।

हिजबुल्लाह के लड़ाके इस वक्त अपने लीडर की मौत के बाद बदले की आग में जल रहे हैं, ऐसे में वह आने वाले दिनों में इजरायल पर हमले तेज कर सकते हैं।

नसरल्लाह की हत्या से टूटा नहीं है हिजब्बुलाह

नसरल्लाह की 27 सितंबर को हत्या के बाद हिजबुल्लाह की कमान कुछ समय के लिए अव्यवस्थित हो गई थी, लेकिन 72 घंटों के भीतर संगठन ने एक नए ऑपरेशन्स रूम की स्थापना की, जो अब रॉकेट फायर और जमीनी संघर्ष को कमांड दे रहा है।

हालांकि, हिजबुल्लाह के कई वरिष्ठ नेताओं की मृत्यु हो चुकी है बावजूद इसके संगठन की नई सैन्य कमान ने गोपनीय रूप से काम करते हुए इजरायली सेना का सामना किया है।

संगठन का दावा है कि उनके लड़ाके इजरायली सैनिकों पर नजर रख रहे हैं और उन्हें गुप्त ठिकानों से टारगेट कर रहे हैं।

लंबी लड़ाई के लिए तैयार हो रहा हिजबुल्लाह

रॉयटर्स की रिपोर्ट के मुताबिक, हिजबुल्लाह के पास अभी भी शक्तिशाली मिसाइलों का बड़ा भंडार है, जिन्हें उसने अब तक इस्तेमाल नहीं किया है।

संगठन ने अपनी सटीक मार्गदर्शन वाली मिसाइलों को भविष्य की लड़ाइयों के लिए सुरक्षित रखा है ताकि इजरायल को लेबनान के बुनियादी ढांचे जैसे हवाईअड्डे और सड़कों पर हमला करने का मौका न मिले।

इजरायल ने दावा किया है कि उसने हिजबुल्लाह के हथियार भंडार का एक बड़ा हिस्सा नष्ट कर दिया है, लेकिन हिजबुल्लाह के पास अभी भी सैकड़ों किलोमीटर लंबी सुरंगों का जाल है जिनका इस्तेमाल वह अपने लड़ाकों को छिपाने और हमले करने के लिए कर रहा है।

गुरिल्ला युद्ध की तैयार की प्लानिंग

दक्षिणी लेबनान में हिजबुल्लाह ने सुरंगों का एक विस्तृत नेटवर्क तैयार किया हुआ है जो 2006 के इजरायल-लेबनान युद्ध के बाद से और मजबूत हुआ है। यह सुरंगें हिजबुल्लाह के विशेष बल ‘रदवान यूनिट’ के लिए तैयार की गई हैं, ताकि वे एक दिन उत्तरी इजरायल के गलील क्षेत्र में प्रवेश कर सकें। सुरंगों के माध्यम से गुरिल्ला युद्ध हिजबुल्लाह की प्रमुख रणनीतियों में से एक है और यह इजरायली सैनिकों के खिलाफ निकट युद्ध में मददगार साबित हो रही हैं।

इजरायल ने क्या की प्लानिंग

इजरायल ने 1 अक्टूबर से दक्षिणी लेबनान में अपनी जमीनी सेना भेज दी है, जिसमें कमांडो, बख्तरबंद यूनिट्स और पैदल सेना शामिल हैं। इजरायल का दावा है कि उसकी सेना हिजबुल्लाह की सुरंगों और ठिकानों को तबाह कर रही है।

इसके साथ ही इजरायली सेना ने सैकड़ों हिजबुल्लाह लड़ाकों को मार गिराने का भी दावा किया है। हालांकि, हिजबुल्लाह अब भी इजरायली ठिकानों पर भारी संख्या में रॉकेट और मिसाइल दाग रहा है और इजरायल के सैनिकों के लिए यह युद्ध बेहद चुनौतीपूर्ण साबित हो रहा है

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