उज्बेकिस्तान के समरकंद में एससीओ सम्मेलन पर पूरी दुनिया की निगाहें किस कदर लगी हुई हैं, इसका अंदाजा अमेरिका के बयान से लगाया जा सकता है।
इधर शंघाई सहयोग संगठन में जैसे भारत ने जैसे ही रूस-यूक्रेन युद्ध पर पुतिन से चिंता जताई उधर अमेरिकी विदेश सचिव एंटनी ब्लिंकेन का बयान आ गया।
इसमें उन्होंने रूस-यूक्रेन के जल्द खत्म होने की उम्मीद जताई। हालांकि एससीओ के मंच से ही पुतिन ने कह दिया कि यू्क्रेन मिशन को लेकर जल्दी में नहीं है।
एससीओ के बाद ब्लिंकेन को बंधी उम्मीद
अमेरिकी विदेश सचिव एंटनी ब्लिंकेन ने अपने बयान में कहा कि उन्हें उम्मीद है इस सम्मेलन के दौरान भारत और चीन से पड़े दबाव के चलते रूस इस युद्ध को जल्द खत्म करेगा।
एंटनी ने कहा कि आप सभी भारत और चीन की बातें सुन रहे हैं। इससे साबित होता है कि रूस द्वारा यूक्रेन पर हमले को लेकर पूरी दुनिया में कितनी चिंता है।
अब यह केवल यूक्रेन के लोगों की बात नहीं रह गई है। ब्लिंकेन ने कहा कि उन्हें उम्मीद है कि इस तरह के दबाव रूस को युद्ध खत्म करने पर विवश होगा।
गौरतलब है कि भारतीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रूसी राष्ट्रपति से बातचीत के दौरान कहा था कि यह दौर युद्ध का नहीं है।
नहीं रुकेगा आक्रमण
हालांकि इससे अलग रूसी राष्ट्रपति ब्लादिमीर पुतिन के इरादे कुछ और ही नजर आते हैं। पुतिन ने एससीओ के मंच से ही कह दिया कि यूक्रेन मिशन को लेकर रूसी सेना किसी तरह की जल्दबाजी में नहीं है।
उज्बेकिस्तान में सम्मेलन के दौरान इस पर सवाल पूछे जाने पर उन्होंने कहा कि एडजस्टमेंट का कोई सवाल नहीं है। पुतिन ने कहा कि डोनबास में हमारा आक्रमण रुकने वाला नहीं है।
हमारी सेना धीमी रफ्तार से आगे बढ़ रही है। उन्होंने कहा कि इसमें बदलाव की कोई योजना नहीं है। गौरतलब है कि बीते दिनों खारकीव में यूक्रेन ने रूस की सेना को खदेड़ दिया था।
इसके बाद भी उम्मीद बंधी थी कि संभवत: रूस अपने मिशन के बारे में फिर से विचार करे।