प्रियंका प्रसाद (ज्योतिष सलाहकार):
हिंदू धर्म ग्रंथों में महा कुंभ मेला में शाही स्नान का विशेष महत्व है।
मान्यता है कि कुंभ मेला में शाही स्नान करने से पुण्य की प्राप्ति होती है। इस समय यूपी के प्रयागराज में महा कुंभ मेला लगा है।
महा कुंभ मेले की शुरुआत 13 जनवरी 2025 पौष पूर्णिमा से हुई थी और इसका समापन 26 फरवरी 2025 को महाशिवरात्रि पर होगा।
महा कुंभ में अमृत स्नान या शाही स्नान की व्यवस्था भी है। जानें महा कुंभ का आखिरी शाही स्नान कब है व इसका महत्व:
महा कुंभ का आखिरी शाही स्नान कब है: महा कुंभ का आखिरी शाही स्नान महाशिवरात्रि को किया जाएगा। इस साल महाशिवरात्रि 26 फरवरी 2025 को है।
इस दिन से ही कुंभ मेले का समापन होगा। महाशिवरात्रि का त्योहार हर साल फाल्गुन मास के कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी को मनाया जाता है। यह पर्व भगवान शिव व माता पार्वती के मिलन का प्रतीक है।
महाशिवरात्रि शुभ मुहूर्त 2025:चतुर्दशी तिथि 26 फरवरी 2025 को सुबह 11 बजकर 08 मिनट पर प्रारंभ होगी और 27 फरवरी 2025 को सुबह 08 बजकर 54 मिनट पर समापन होगा।
महा शिवरात्रि स्नान-दान मुहूर्त 2025:
ब्रह्म मुहूर्त- 05:09 ए एम से 05:59 ए एम
प्रातः सन्ध्या- 05:34 ए एम से 06:49 ए एम
अमृत काल- 07:28 ए एम से 09:00 ए एम
विजय मुहूर्त- 02:29 पी एम से 03:15 पी एम
गोधूलि मुहूर्त- 06:17 पी एम से 06:42 पी एम
महा कुंभ शाही स्नान तिथियां-
पहला शाही स्नान- 13 जनवरी (पौष पूर्णिमा)
दूसरा शाही स्नान- 14 जनवरी (मकर संक्रांति)
तीसरा शाही स्नान- 29 जनवरी (माघ अमावस्या)
चौथा शाही स्नान- 3 फरवरी (बसंत पंचमी)
पांचवां शाही स्नान- 13 फरवरी (माघ पूर्णिमा)
आखिरी शाही स्नान- 26 फरवरी (महा शिवरात्रि)
महा शिवरात्रि पर स्नान-दान का महत्व: महाशिवरात्रि पर कुंभ मेले में स्नान करने व दान का अत्यधिक महत्व है। मान्यता है कि ऐसा करने से कई यज्ञ के बराबर पुण्य की प्राप्ति होती है। जीवन में सुख-समृद्धि का आगमन होता है। अंत में जातक को मोक्ष की प्राप्ति होती है।
इस आलेख में दी गई जानकारियों पर हम यह दावा नहीं करते कि ये पूर्णतया सत्य एवं सटीक हैं। इन्हें अपनाने से पहले संबंधित क्षेत्र के विशेषज्ञ की सलाह जरूर लें।
प्रियंका प्रसाद (केवल व्हाट्सएप) 94064 20131