हमास के लिए इजरायली पीएम बेंजामिन नेतन्याहू की जासूसी करने वाले को गिरफ्तार किया गया है।
आरोपी नेतन्याहू का खासमखास और उनका शीर्ष सहयोगी बताया जा रहा है। प्रकरण पीएम कार्यालय के दस्तावेजों को लीक कर यूरोपीय मीडिया को देने का है।
हालांकि इजरायल में विपक्षी नेताओं का आरोप है कि यह खुफिया जानकारी “फर्जी” थी और गाजा में युद्ध विराम और बंधक समझौते को विफल करने की एक चाल थी।
इजरायली पुलिस द्वारा इस मामले में पांचवीं गिरफ्तारी की है। बाकी आरोपियों के नाम सुरक्षा कारणों से गुप्त रखे गए हैं।
जांच उन आरोपों पर केंद्रित है कि इजरायल के प्रधानमंत्री कार्यालय से गाजा समझौते के दस्तावेज लीक करके विदेशी मीडिया में प्रसारित किए गए।
दस्तावेजों में ऐसा दावा किया गया है कि हमास मिस्र की सीमा पार करके गाजा से बंधकों की तस्करी करने की योजना बना रहा है और नेतन्याहू पर बंधकों की रिहाई और युद्ध विराम समझौते के लिए दबाव डाल रहा है।
इजरायल में विपक्षी नेताओं ने गिरफ्तार आरोपी एलीएजर फेल्डस्टीन को नेतन्याहू का सहयोगी बताया है।
दस्तावेजों के अनुसार, “गोपनीय और संवेदनशील खुफिया जानकारी” के लीक होने के मामले में वह पांच संदिग्धों में से एक हैं।
उधर, मामले में नेतन्याहू के प्रवक्ता ने इस बात से इनकार कर दिया कि प्रधानमंत्री कार्यालय (पीएमओ) से कोई जानकारी लीक हुई है।
उन्होंने आगे कहा कि “संबंधित व्यक्ति ने कभी भी सुरक्षा संबंधी चर्चाओं में भाग नहीं लिया”। पीएमओ ने इस संभावना को भी इनकार कर दिया कि दस्तावेज लीक होने से गाजा से बंधकों की रिहाई के लिए हमास के साथ वार्ता प्रभावित होगी।
इजरायली ठिकानों पर ड्रोन हमले
हमास और हिजबुल्लाह से सीधी लड़ाई के बीच इराक के शिया मिलिशिया समूह ने को इजरायली ठिकानों पर तीन ड्रोन हमलों की जिम्मेदारी ली है।
समूह की ओर से बयान के अनुसार उसके लड़ाकों ने जॉर्डन घाटी में ‘महत्वपूर्ण स्थलों’ पर दो ड्रोन हमले किए, जो जॉर्डन की इजरायल और वेस्ट बैंक के साथ पश्चिमी सीमा से लगे हुए हैं, और तीसरा हमला कब्जे वाले गोलान हाइट्स में किया।
बयानों में लक्षित स्थलों के बारे में या किसी हताहत की सूचना नहीं दी गई। समूह ने कहा कि हमले ‘फिलिस्तीन और लेबनान में हमारे लोगों के साथ एकजुटता में’ किए गए हैं।