ओडिशा के पुरी में होने वाली विश्व विख्यात जगन्नाथ रथ यात्रा 2024 आज रविवार 7 जुलाई को शुरू होने वाली है।
भगवान जगन्नाथ की यह यात्रा वैसे तो एक ही दिन की होती है, लेकिन विशेष खगोलीय घटनाओं के कारण इस बार यह यात्रा दो दिनों तक चलेगी, ऐसा संयोग पिछली बार 1971 में बना था।
हर साल लाखों की संख्या में भक्त इस यात्रा में शामिल होने के लिए देश-विदेश से आते हैं। जगन्नाथ रथ यात्रा में इस बार राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू भी शामिल होंगी, ओडिशा की नई सरकार ने राष्ट्रपति मुर्मू की यात्रा के लिए विशेष व्यवस्था लागू की है, राष्ट्रपति मुर्मू ओडिशा के मयूरभंज जिले से आती हैं। इस कारण उनके लिए यह यात्रा और भी ज्यादा प्रिय हो जाती है।
सीएम मोहन चरण मांझी ने लागू किया दो दिवसीय अवकाश
यात्रा और इस त्योहार को सुचारू रूप से चलाने के लिए सीएम मोहन चरण मांझी ने रथ यात्रा के लिए 7 और 8 जुलाई को दो दिवसीय सार्वजनिक अवकाश की घोषणा कर दी है।
इस साल रथ यात्रा में क्या है खास
पारंपरिक प्रथा से अलग इस बार तीन सहोदर देवताओं- भगवान जगन्नाथ,देवी सुभद्रा, और भगवान बलभद्र से जुड़े कई अनुष्ठान किए जाएंगे।
कई अनुष्ठान जो यात्रा से पहले किए जाते थे, वे इस बार आज के दिन ही किए जाएंगे। इनमें से एक अनुष्ठान ‘नवजौवन दर्शन’ देवताओं की युवा उपस्थिति का प्रतीक है।
भगवान को स्नान पूर्णिमा के बाद अनासरा के दौरान 15 दिनों तक बंद दरवाजों के पीछे रखा जाता है। पौराणिक कथाओं के अनुसार स्नान पूर्णिमा पर अत्यधिक स्नान के कारण देवता बीमार पड़ जाते हैं और इस कारण घर के अंदर ही रहते हैं।
ओडिशा सरकार की चाक चौबंध व्यवस्था
नव निर्वाचित ओडिशा की राज्य सरका ने वार्षिक उत्सव को सुचारू रूप से और समय पर संपन्न कराने के लिए सभी व्यवस्थाएं कर ली हैं।
पुरी के कलेक्टर सिद्धार्थ शंकर स्वैन ने पीटीआई से बात करते हुए कहा कि सभी लोगों के सहयोग से, सभी अनुष्ठान सुचारू रूप से चल रहे हैं। भगवान जगन्नाथ के आशीर्वाद से, अन्य सभी अनुष्ठान भी तय कार्यक्रम के अनुसार आयोजित किए जाएंगे।
पुरी के पुलिस अधीक्षक पिनाक मिश्रा ने पीटीआई से कहा कि राज्य और केन्द्र सरकार दोनों के सुरक्षा बलों की 180 प्लाटून को कानून और व्यवस्था प्रबंधन करने और भीड़ को नियंत्रित करने के लिए तैनात किया गया है।
यात्रा के दौरान बीमार पड़े किसी भी व्यक्ति के लिए ग्रीन कॉरिडोर तैयार किया गई है। यात्रा के मार्ग पर और शहर के अन्य प्रमुख स्थलों पर ए- आई आधारित सीसीटीवी कैमरे लगाए गए हैं।
चूंकि उत्सव में राष्ट्रपति आ रही हैं तो उनकी यात्रा के लिए विशेष सुरक्षा उपाय किए गए हैं। ओडिशा के राज्यपाल, मुख्यमंत्री, केंद्रीय मंत्रियों और अन्य गणमान्य नागरिकों के लिए एक वीआईपी क्षेत्र की योजना बनाई गई है, जबकि राष्ट्रपति के एक बफर जोन आरक्षित है।