7 अक्टूबर को हमास के आतंकवादियों द्वारा इजरायल की सीमा में घुस कर किए हमले के बाद इजरायल के लोगों में डर का माहौल है।
महिलाओं द्वारा हथियारों के किए गए आवेदनों की संख्या में वृद्धि हुई है। फेमिनिस्ट ग्रुपों ने इस बढ़ते गन कल्चर को लेकर लोगों की निंदा की है।
सुरक्षा मंत्रालय के डाटा के अनुसार लाइसेंसी बंदूकों के लिए करीब 42 हजार से ज्यादा महिलाओं के आवेदन आए हैं। इन आवेदनों के बाद 18 हजार के आवेदनों को स्वीकार कर लिया गया है।
7 अक्टूबर के अटैक के लोगों में डर का माहौल है। उस हमले के बाद हथियार के आवेदनों की संख्या में तीन गुना से ज्यादा इजाफा हुआ है।
7 अक्टूबर को हमास के आतंकवादियों द्वारा इजरायल की सीमा में घुस कर किए हमले के बाद इजरायल के लोगों में डर का माहौल है।
महिलाओं द्वारा हथियारों के किए गए आवेदनों की संख्या में वृद्धि हुई है। फेमिनिस्ट ग्रुपों ने इस बढ़ते गन कल्चर को लेकर लोगों की निंदा की है।
सुरक्षा मंत्रालय के डाटा के अनुसार लाइसेंसी बंदूकों के लिए करीब 42 हजार से ज्यादा महिलाओं के आवेदन आए हैं। इन आवेदनों के बाद 18 हजार के आवेदनों को स्वीकार कर लिया गया है।
7 अक्टूबर के अटैक के लोगों में डर का माहौल है। उस हमले के बाद हथियार के आवेदनों की संख्या में तीन गुना से ज्यादा इजाफा हुआ है।
हमास के हमले के बाद बंदूकों की मांग बढ़ चुकी है। इजरायल के सुरक्षा मंत्री बेन गिविर 2022 में जब मंत्री बने थे तभी से हथियारों के लाइसेंस की प्रक्रिया को आसान बनाने की वकालत करते रहे हैं।
उन्होंने जनता से वादा किया कि हाथ में हथियार लिए इजरायली नागरिकों की संख्या में लगातार वृद्धि होगी। बेन के मंत्री रहते बंदूकों के लाईसेंस मिलने की प्रक्रिया में तेजी आई है और लगातार लोग हथियार ले भी रहे हैं।
बंदूक लेने के लिए बनी नई शर्तें
इजरायली सरकार ने बंदूक लेने के लिए नागरिकों के सामने कुछ शर्तें भी रखी हैं। जो बंदूक लेना चाहता है उसे कम से कम 18 साल का होना चाहिये और इजरायल का निवासी होना चाहिए, हिब्रू का सामान्य ज्ञान होना चाहिए और मेडीकली फिट होना चाहिए।
इस लिस्ट के आधार पर यहूदी के अलावा किसी और धर्म के व्यक्ति का लाइसेंस ले पाना लगभग नामुमकिन है।