ओडिशा के मंत्री सारदा प्रसाद नायक एक नहीं दो विवादों में फंस गए हैं।
पहले उन्होंने डॉक्टर बनकर एक रक्तदान शिविर में एक डोनर का खुद ही खून निकाल लिया।
इसके बाद सुंदरगर्ग जिले में कवाली कार्यक्रम के दौरान सिंगर पर नोटों की बारिश कर दी। ऐसा करते उनके वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे हैं।
नवीन पटनायक सरकार में श्रम और ईएसआई मंत्री नायक को अलग-अलग घटनाओं वाले वायरल वीडियो में एक गायक पर पैसे बरसाते और एक व्यक्ति का खून निकालते देखा गया है।
हालांकि 16 अक्टूबर को राउरकेला सरकारी अस्पताल में आयोजित रक्तदान शिविर में नायक के बगल में एक नर्स खड़ी थी, नायक ने एक सुई का इस्तेमाल किया और डोनर से रक्त निकाला।
घटना का वीडियो वायरल होने पर मंत्री पर सवाल उठ रहे हैं। लोग सवाल कर रहे हैं कि बिना किसी अनुभव के वह एक शिविर में खून कैसे निकाल सकते हैं। हालांकि, वीडियो वायरल होने के बाद राउरकेला विधायक नायक ने बुधवार को पत्रकारों से बात करते हुए अपनी कार्रवाई का बचाव किया।
उन्होंने कहा, “डोनर ने मुझसे रक्त लेने का अनुरोध किया और मैंने एक नर्स की मदद से उसकी इच्छाओं का सम्मान किया। कोविड-19 महामारी के दौरान, जब लोग बाहर आने से डरते थे, मैंने स्वास्थ्य कर्मियों के साथ 24 घंटे काम किया है।”
सिंगर पर बरसा रहे नोट
एक अन्य वीडियो में, नायक को मंगलवार को सुंदरगढ़ जिले के एक होटल में आयोजित एक संगीत कार्यक्रम के दौरान नोट फेंकते देखा गया।
मामले की सफाई में नायक ने कहा, “प्रसिद्ध कवाली गायक देश की महिमा गा रहा था और दर्शक उसका सम्मान करना चाहते थे।
उन्होंने एक जन प्रतिनिधि के रूप में मुझसे गायक को सम्मानित करने का अनुरोध किया। मैंने उसे कुछ नकदी की पेशकश की जो पूरी तरह से मेरी मेहनत की कमाई से है। यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि मामले को गलत तरीके से पेश किया गया।”
बीजेडी नेता भी मंच पर डांस करते दिखे। नायक ने कहा, ”यह एक उत्सव का अवसर था। लोगों ने मुझसे नृत्य करने का अनुरोध किया और मैंने लोगों की इच्छा के अनुरूप बस एक या दो कदम आगे बढ़ाये। मैं एक जागरूक नागरिक हूं और मैं अपने कार्यों से पूरी तरह अवगत हूं, जिनका उद्देश्य समाज को कोई नुकसान पहुंचाना नहीं है।”
विरोध
हालांकि, नायक के राजनीतिक विरोधी उनके स्पष्टीकरण को मानने के लिए तैयार नहीं हैं। सुंदरगढ़ की बीजेपी विधायक कुसुम टेटे ने कहा, ‘कहा जा रहा है कि कवाली कार्यक्रमों के दौरान पैसे बरसाने की ऐसी घटनाएं आम हैं। लेकिन अगर मंत्री ने पैसों की बारिश की है तो इससे पता चलता है कि उनके पास पैसों की कोई कमी नहीं है। उन्हें भूख से मर रहे लोगों को पैसे देने चाहिए।”
यह कहते हुए कि लोग पैसे को देवी लक्ष्मी का रूप मानते हैं, टेटे ने आश्चर्य जताया कि वह समाज को क्या संदेश दे रहे हैं। वहीं, स्थानीय कांग्रेस नेता बीरेन सेनापति ने कहा, “मंत्री का मानना है कि प्रचार न होने से बुरा प्रचार बेहतर है। इसलिए सुर्खियों में बने रहने के लिए नायक ऐसी सारी हरकतें कर रहे हैं।’