चीन में करीब एक महीने से लंबे समय से रेतीले तूफान ने कहर बरपा रखा है।
अब यह तूफान पड़ोसी देशों जापान और दक्षिण कोरिया में भी फैल रहा है और वहां के आसमान में धुंध बनकर छा रहा है।
इसकी वजह से धूल के कण दक्षिण कोरिया से लेकर जापान तक हवा की गुणवत्ता को प्रभावित कर रहे हैं।
दक्षिण कोरिया के पर्यावरण मंत्रालय द्वारा रेग्युलेट होने वाले Air Korea के मुताबिक, दुनिया के सबसे बड़े मरूस्थल गोबी मरूस्थल से उठे रेतीले तूफान के महीन कण दक्षिण कोरिया की राजधानी सियोल सहित उसके आस-पास के शहरों में फैल रहा है। इससे हवा की गुणवत्ता गंभीर और अस्वास्थ्यकर स्थिति में पहुंच गई है।
जापान मौसम विज्ञान एजेंसी के एक पूर्वानुमान के अनुसार, बुधवार को सैंडस्टॉर्म के जापान की राजधानी टोक्यो पहुंचने का अनुमान है।
एजेंसी ने कहा है कि इससे मध्य क्षेत्र में दृश्यता प्रभावित होगी और लोगों के स्वास्थ्य पर बुरा असर पड़ सकता है।
सोमवार की रात चीन के 18 प्रांतों और शहरों में आए तूफान का प्रभाव लगातार फैल रहा है। राजधानी बीजिंग में सोमवार की रात काम पर से घर लौट रहे बाइक यात्रियों को अचानक धूल भरी हवा के झोंकों ने अचंभित कर दिया था।
जब ये लोग घर पहुंचे तो अपने चोहरों पर धूल की पीली परत देखी और उनकी आंखों में , चुभन थी। इसके बाद लोगों ने चीन के ट्विटर वीबो पर तूफान के बारे में सर्च करना शुरू कर दिया। वीबो पर यह सबसे ज्यादा खोजा जाने वाला विषय बन गया।
मार्च से शुरू होने वाले गर्म मौसम में यह सबसे पहला रेतीला तूफान का अटैक है। माना जा रहा है कि मंगोलिया और शिचुआन प्रांत के जंगलों में लगी आग की वजह से इसकी तीव्रता बढ़ी है।
फिलहाल तूफान की दिशा दक्षिण और दक्षिण-पूर्व है। इसलिए इसका असर भारत, पाकिस्तान और नेपाल पर नहीं पड़ने वाला है। माना जा रहा है कि दो दिन में तूफान का असर कम पड़ सकता है।