रूस और यूक्रेन के बीच जारी युद्ध को एक साल पूरा होने वाला है।
इसी बीच यूक्रेन के सांसदों को भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का ‘संदेश’ याद आ रहा है, जहां उन्होंने युद्ध से बचने की बात कही थी। सांसद का कहना है कि रूस को उनका संदेश समझना चाहिए था।
हाल ही में भारत में जर्मनी के राजदूत डॉक्टर फिलिप एकरमैन ने भी युद्ध को रोकने में भारत की भूमिका पर बात की है।
रूस और यूक्रेन के बीच जारी युद्ध को एक साल पूरा होने वाला है। इसी बीच यूक्रेन के सांसदों को भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का ‘संदेश’ याद आ रहा है, जहां उन्होंने युद्ध से बचने की बात कही थी।
सांसद का कहना है कि रूस को उनका संदेश समझना चाहिए था। हाल ही में भारत में जर्मनी के राजदूत डॉक्टर फिलिप एकरमैन ने भी युद्ध को रोकने में भारत की भूमिका पर बात की है।
सांसद ने कहा, ‘अंतरराष्ट्रीय समुदाय की मदद से हमें आक्रमण करने वालों से लड़ना होगा। हम नहीं मानते की रूस ने युद्ध रोकने में कोई गंभीरता दिखाई है।
सीजफायर के लिए अभी कोई बातचीत नहीं हुआ है, क्योंकि हमें रूसी पक्ष की ओर से गंभीर बातचीत की इच्छा नजर नहीं आती।’ उन्होंने रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के ताजा भाषण का हावाला दिया और कहा कि क्रेमलिन का बातचीत का कोई मकसद नहीं है।