यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोदिमिर जेलेंस्की ने फुटबॉल वर्ल्ड कप 2022 के फाइनल में शांति का संदेश देने का अनुरोध किया था लेकिन फीफा ने उसे खारिज कर दिया।
रविवार रात साढ़े 8 बजे कतर में फ्रांस और अर्जेंटीना के बीच टूर्नामेंट का फाइनल खेला जाएगा।
सीएनएन ने अपनी रिपोर्ट में बताया कि जेलेंस्की ने खेल की शुरुआत से पहले शांति का संदेश देने का अनुरोध किया था लेकिन विश्व कप के आयोजक फीफा ने उनके अनुरोध को खारिज कर दिया है।
रिपोर्ट के अनुसार, जेलेंस्की मैच से पहले स्टेडियम में प्रशंसकों को वीडियो के माध्यम से संदेश देना चाहते थे, लेकिन फीफा से मिली नकारात्मक प्रतिक्रिया से हैरान रह गए।
हालांकि, सीएनएन ने बताया कि यूक्रेन और खेल के शासी निकाय फीफा के बीच बातचीत अभी भी जारी है।
बता दें कि यूक्रेनी राष्ट्रपति इससे पहले कई बार अन्य देशों की संसद व सांस्कृतिक कार्यक्रमों और विश्व मंच पर शांति और सहायता की अपील कर चुके हैं।
उन्होंने इजरायल की संसद, अमेरिकी सांसदों, ग्रैमी अवार्ड्स, कान फिल्म महोत्सव और जी20 शिखर सम्मेलन में शांति का संदेश दिया था और विश्व समुदाय से मदद मांगी थी।
जेलेंस्की ने सीन पॉल और डेविड लेटरमैन सहित विभिन्न पत्रकारों और प्रसिद्ध एंटरटेनर को इंटरव्यू भी दिया है।
दूसरी ओर, फीफा ने कतर में हर उस कोशिश को खारिज कर दिया है जिसमें राजनीतिक संदेश देने की कोशिश की गई है।
सीएनएन के मुताबिक, एलजीबीटीक्यू समुदाय के लोगों और प्रवासी श्रमिकों के साथ कतर के व्यवहार की आलोचना को भी फीफा ने मंच नहीं दिया है।
कई यूरोपीय टीमें वर्ल्ड कप मैच के दौरान “वन लव आर्मबबैंड” पहनना चाहती थीं। LGBTQ समुदाय को लेकर जागरूकता पैदा करने के लिए फुटबॉल टीमों द्वारा ‘वन लव’ आर्मबैंड बनाया गया था।
फीफा विश्व कप के मेजबान देश कतर में समलैंगिकता अवैध है। इस बैंड को अपनी आलोचना के तौर पर देखते हुए कतर ने विरोध किया और फीफा ने बैंड पर बैन लगा दिया।
इसके अलावा फीफा ने फैंस को मैच के दौरान राजनीतिक संदेश देने वाले झंडे दिखाने पर भी बैन लगा दिया। हालांकि, विश्व कप के आयोजकों ने फिलीस्तीनी ध्वज अपवाद के तौर पर रखा।
यह झंडा मुख्य रूप से खेलों के दौरान प्रदर्शित किया गया है। हालांकि यूक्रेन पर आक्रमण के बाद रूस की टीम को टूर्नामेंट से प्रतिबंधित कर दिया गया था।