इंडोनेशिया की सबसे घनी आबादी वाले द्वीप पर स्थित सबसे ऊंचे ज्वालामुखी में रविवार को हुए नए विस्फोट में गैस के गुबार और लावा की नदियां फूटीं।
राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन एजेंसी के प्रवक्ता अब्दुल मुहरी के अनुसार, ऊर्जा एवं खनिज संसाधन मंत्रालय के तहत ज्वालामुखी विज्ञान और भूवैज्ञानिक खतरा शमन एजेंसी की जानकारी का हवाला देते हुए कहा कि मॉनसून की बारिश खत्म हो गई और 3,676 मीटर ऊंचे माउंट सेमेरू के ऊपर लावा का गुंबद ढह गया, जिससे विस्फोट हुआ।
कई गांवों में ज्वालामुखी से निकले लावों से पैदा हुए राख के गुबार के कारण सूरज की रोशनी नहीं पहुंच पा रही है, लेकिन किसी के हताहत होने की खबर नहीं है।
लोगों को क्रेटर के मुहाने से पांच किलोमीटर दूर रहने और क्रेटर से लगभग 13 किलोमीटर दूर स्थित बेसुक कोबोकन नदी के दक्षिण-पूर्वी क्षेत्र से दूर रहने की सलाह दी गई है।
पूर्वी जावा प्रांत के लुमाजांग में आपदा प्रबंधन एजेंसी के प्रमुख जोको संबांग ने कहा, सैकड़ों लोगों को अस्थायी आश्रयों में ले जाया गया या अन्य सुरक्षित क्षेत्रों में पहुंचाया गया, जिनमें ज्यादातर महिलाएं, बच्चे और बुजुर्ग थे।
सेमेरु का आखिरी बड़ा विस्फोट पिछले साल दिसंबर में हुआ था, जब ज्वालामुखी विस्फोट के कारण 51 लोगों की मौत हो गई थी।