कारोबारी और कांग्रेस नेता प्रियंका गांधी वाड्रा के पति रॉबर्ट वाड्रा (Robert Vadra)ने ब्रिटेन, इटली और स्पेन की यात्रा को लेकर लगाए नियमों और शर्तों के उल्लंघन के मामले में कोर्ट के सामने बिना शर्त माफी की पेशकश की है।
विदेश यात्रा के लिए लगाए गए नियमों और शर्तों के उल्लंघन करने को लेकर ईडी की ओर से एक सावधि जमा (fixed deposit)को जब्त करने और वाड्रा के खिलाफ कानूनी कार्रवाई शुरू करने के लिए दाखिल याचिका पर राउस एवेन्यू कोर्ट की विशेष सीबीआई जज नीलोफर आबिदा परवीन ने बुधवार को आदेश सुरक्षित रख लिया।
जहां सुनवाई के दौरान वाड्रा ने कोर्ट के समक्ष बिना शर्त माफी की पेशकश की, वहीं प्रवर्तन निदेशालय यानी ईडी ने कहा कि उनके ( वाड्रा के) खिलाफ कार्रवाई शुरू की जानी चाहिए।
एक हलफनामे में वाड्रा ने कहा कि उनसे अनजाने में गलती हुई और ‘दुबई के लिए’ (To Dubai) की जगह यात्रा की अनुमति के अपने आवेदन में ‘दुबई से होकर’ (via Dubai)लिख दिया। वाड्रा की ओर से पेश हुए वरिष्ठ वकील अभिषेक मनु सिंघवी ने कहा, “इसमें कोई संदेह नहीं है कि मैंने गलती की है।”
इस पर जज ने कहा, ”आपको इजाजत लेनी चाहिए थी।”अभिषेक मनु सिंघवी ने कहा, “गलती हुई है। मेरा स्पष्ट रूप से गुमराह करने का कोई इरादा नहीं था। जज को X कहने और Y करने का कोई इरादा नहीं था।” उन्होंने कहा, “मैं गलती के लिए बिना शर्त माफी मांगता हूं, इसके लिए मुझे क्षमा करें।”
प्रवर्तन निदेशालय यानी ईडी के वकील ने इस दलील का विरोध किया। ईडी के विशेष लोक अभियोजक, एडवोकेट एन के मट्टा ने कहा कि रॉबर्ट वाड्रा को भारत छोड़ने से पहले और भारत वापस लौटने के बाद अदालत में पता पेश करने का निर्देश दिया गया था लेकिन उन्होंने यूके में जिन स्थानों का दौरा किया, उनका विवरण प्रस्तुत नहीं किया।
इस पर सिंघवी ने तर्क दिया, “ईडी ने 22 अगस्त, 23 और 24 अगस्त को संशोधित यात्रा कार्यक्रम (जिसमें दुबई में 4 दिनों के लिए एक स्टॉपओवर शामिल था) पर आपत्ति नहीं की थी।”
गौरतलब है कि सोमवार को कोर्ट ने कारोबारी रॉबर्ट वाड्रा के इस स्पष्टीकरण पर नाराजगी जताई थी कि वह इस साल अगस्त में यूएई के रास्ते यूनाइटेड किंगडम (यूके) की यात्रा के दौरान दुबई में एक चिकित्सा आपातकाल के लिए रुके थे।