म्यांमार में सेना के हेलिकॉप्टर ने एक स्कूल में फायरिंग कर दी।
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक स्कूल में मौजूद कम से कम 13 लोगों की मौत हो गई जिसमें 7 स्टूडेंट शामिल हैं।
यह स्कूल एक बौद्ध मठ में स्थित था। जानकारी के मुताबिक फायरिंग में 17 से ज्यादा लोग घायल भी हुए हैं।
केंद्रीय सागैंग इलाके में स्थित स्कूल में सेना ने हमला किया था। सेना का कहना है कि स्कूल में विद्रोही छिपे हुए थे।
सेना के हमले के बाद कुछ बच्चे तत्काल ही मर गए वहीं कुछ तब मारे गए जब सैनिक गांव में घुस गए। स्कूल से 11 किलोमीटर की दूरी पर स्थित कस्बे में मारे गए लोगों को दफना दिया गया।
सेना की तरफ से दावा किया गया है कि पहले विद्रोहियों ने गोलीबारी शुरू की थी। इसके बाद जवाब दिया गया। गांव में करीब एक घंटे तक गोलियां चलीं।
स्कूल की ऐडमिनिस्ट्रेटर मार मार के मुताबिक वह कोशिश कर रही थीं कि बच्चों को सुरक्षित स्थान पर छिपाया जाए। तभी चार एमआई-35 हेलिकॉप्टर पहुंच गए।
इनमें से दो ने गोलीबारी शुरू कर दी। स्कूल पर मशीन गन और भारी हथियारों से गोलीबारी की गई।
उन्होंने कहा, जब तक शिक्षकों और छात्रों ने क्लासरूम में जाने की कोशिश की और सात साल का बच्चा और टीचर गोली का शिकार हो चुके थे। उनका खून बह रहा था और पट्टी बांधकर खून रोकने की कोशिश की जा रही थी।
उन्होंने बताया कि फायरिंग रुकने के बाद सेना ने कहा कि सभी लोग बाहर आ जाएं। कम से कम 30 छात्रों को गोली लगी थी।
किसी की पीठ पर, किसी की गर्दन पर और किसी की जांघ में गोली लगी थी। वहां की मीडिया ने रिपोर्ट किया कि पीपल्स डिफेंस फोर्स के सदस्यों के छिपे होने की सूचना पर सेना स्कूल में जांच करने गई थी।
बता देंकि जब से म्यांमार में तख्तापलट हुआ है अकसर सेना के हमले में आम नागरिक मारे जाते हैं। एक साल में करीब 2 हजार लोग मारे गए हैं। वहीं 12 हजार से ज्यादा लोगों को हिरासत में लिया गया है।