कर्नाटक-महाराष्ट्र सीमा विवाद: मुख्यमंत्री बोम्मई और शिंदे ने फोन पर की बात, बॉर्डर पर ‘शांति’ कायम रखने पर जताई सहमति…

कर्नाटक के मुख्यमंत्री बसवराज बोम्मई ने कल महाराष्ट्र के सीएम एकनाथ शिंदे के साथ टेलीफोन पर बातचीत की।

दोनों मुख्यमंत्री इस बात पर सहमत थे कि सीमा के इलाकों में शांति और कानून व्यवस्था कायम रहनी चाहिए।

जबकि सीएम बोम्मई ने कहा कि सीमा के मुद्दे पर उनके रुख में कोई बदलाव नहीं हुआ है।

कर्नाटक के मुख्यमंत्री बसवराज बोम्मई ने एक ट्वीट में कहा कि ‘हम दोनों इस बात पर सहमत थे कि दोनों राज्यों में शांति और कानून-व्यवस्था बनी रहनी चाहिए।’ उन्होंने कहा कि कर्नाटक और महाराष्ट्र के लोगों के बीच सद्भाव है।

सीएम बोम्मई ने कहा कि जहां तक कर्नाटक की सीमा का संबंध है, उनके रुख में कोई बदलाव नहीं आया है और इसके लिए कानूनी लड़ाई सुप्रीम कोर्ट में लड़ी जाएगी। इससे पहले सीएम बोम्मई ने शिवसेना (यूबीटी) के प्रमुख उद्धव ठाकरे पर पलटवार किया।

बोम्मई ने कहा कि उनकी सरकार आगामी चुनावों को ध्यान में रखते हुए सीमा मुद्दे को नहीं उठा रही है। बोम्मई ने कहा कि पिछले कई सालों से महाराष्ट्र इसे एक मुद्दा बना रहा है। यह कर्नाटक का मुद्दा नहीं है। मामला सुप्रीम कोर्ट में है।

हमारा मामला संविधान के अनुसार है और हमें कानूनी लड़ाई जीतने का भरोसा है। उन्होंने कहा कि हम अपनी सीमा और लोगों की रक्षा के लिए प्रतिबद्ध हैं। हमारी सरकार महाराष्ट्र, तेलंगाना और केरल में रहने वाले कन्नड़ लोगों के लिए चिंतित है।

गौरतलब है कि महाराष्ट्र ने भाषा के आधार पर बेलगावी (बेलगाम) पर दावा किया है, जो तत्कालीन बॉम्बे प्रेसीडेंसी का एक हिस्सा रहा है।

इस समय बेलगावी मौजूदा समय में कर्नाटक के सबसे बड़े जिलों में से एक है। कल कोल्हापुर शिवसेना के जिलाध्यक्ष विजय देवाने ने निप्पानी बॉर्डर से कर्नाटक में घुसने की कोशिश की।

उसे महाराष्ट्र पुलिस ने हिरासत में लेकर रोका। उन्होंने और उनके समर्थकों ने महाराष्ट्र के उन मंत्रियों के खिलाफ नारेबाजी की जो बेलगावी आने में नाकाम रहे।

सीमावर्ती क्षेत्र में कर्नाटक और बेलगावी पुलिस ने भारी पुलिस सुरक्षा का प्रबंध किया है।

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