स्मृति नगर पुलिस चौकी इलाके से 16 दिन से गायब शेयर ट्रेडिंग व्यवसायी निलेश डेहरे के शव का एक हिस्सा महासमुंद रोड के जंगलों से बरामद कर लिया है।
व्यवसायी की हत्या उसी के मुंह बोले मामा मोंटू ने अपने 6 दोस्तों के साथ मिलकर की है। व्यवसायी और उसके मामा के बीच डेढ़ लाख रुपए के लेन-देन का विवाद था।
व्यवसायी मामा को पैसे नहीं लौटा रहा था। इसके बाद मामा ने प्लानिंग के तहत भांजे का अपहरण किया। उसे दोस्तों के साथ सिमगा स्थित फार्म हाउस में ले गया।
सभी ने मिलकर उसकी पीट पीटकर हत्या कर दी। शव को ठिकाने लगाने एक दिन तक फार्म हाउस में रखा।
अगले दिन शव को कुल्हाड़ी से 9 टुकड़ों में काटकर तीन बोरियों में भर लिया। दो बाेरी शिवनाथ नदी में और तीसरी को महासमुंद के जंगल में फेंक दिया।
पुलिस ने जांच के बाद मास्टरमाइंड समेत 6 आरोपियों को हिरासत में ले लिया। पूछताछ की जा रही है। गुरुवार को पुलिस पूरे मामले का खुलासा करेगी।
7 अक्टूबर से गायब था, 17 को पुलिस ने गुम इंसान की लिखा-पढ़ी की
पुलिस के मुताबिक शेयर ट्रेडिंग व्यवसायी मूलत: बेमेतरा का रहने वाला है। वह स्मृति नगर इलाके में किराए के कमरे में रहकर ट्रेडिंग का व्यवसाय करता था।
7 अक्टूबर से शेयर ट्रेडिंग व्यवसायी घर से गायब था। 17 अक्टूबर को परिजन ने उसके गुमने की शिकायत की।
पुलिस के मुताबिक प्राथमिक जांच में पता चला है कि व्यवसायी और आरोपी एक दूसरे से पहले से परिचित थे।
आरोपियों में व्यवसायी में पैसे और गाड़ी को लेकर लंबे समय से विवाद चल रहा था।
पुलिस के मुताबिक आरोपी पहले भी स्मृति नगर में आकर व्यवसायी के साथ मारपीट कर चुके हैं। जिसकी शिकायत व्यवसायी ने थाने में भी की थी। इसके बाद पुलिस ने इस एंगल पर जांच शुरू की थी।
दो बार फरारी काटने के लिए भांजे के घर में ही छिपकर रहा था आरोपी
पुलिस की जांच में पता चला है कि हत्या का मास्टरमाइंड मोंटू आपराधिक प्रवृति का है। वह अपनी गैंग के साथ सिमगा में रंगदारी करता है।
उसके खिलाफ कई अपराध करने का पता चला है। आरोपी दो बार एनडीपीएस एक्ट में नाम आने के बाद फरारी काटने के लिए अपने भांजे व शेयर ट्रेडिंग व्यवसायी के घर का उपयोग कर चुका है।
पुलिस के मुताबिक आरोपियों ने डेढ़ लाख रुपए के लेन-देन में हत्या करना कबूल किया है। लेकिन आरोपियों की कहानी को तस्दीक की जा रही है। शंका है कि पैसों के लेनदेन के साथ अन्य कोई कारण भी हो सकता है।
पुलिस के मुताबिक आरोपियों की निशानदेही पर मृतक के पेट का हिस्सा समेत कुछ अन्य भाग जब्त किया गया है। पूछताछ जारी है।
दो दिन पहले मिले मोबाइल डिटेल के बाद हरकत में आई पुलिस
पुलिस के मुताबिक दो दिन पहले व्यवसायी का आखिरी लोकेशन सिमगा में मिला था। इसके बाद पुलिस ने मामले की जांच शुरू की।
इसके बाद टीआई दुर्गेश शर्मा, एसआई युवराज देशमुख, आरक्षक जुनैद सिद्दिकी, विकास तिवारी, आशीष, जयनारायण और तुषार जांच के लिए सिमगा गए। वहां पता चला कि आखरी बार व्यवसायी ने अपने मुंह बोले मामा मोंटू से बात की थी।
इसी आधार पर पुलिस ने मोंटू को हिरासत में लिया। पूछताछ में आरोपी ने अपने साथी रुद्र, राजा समेत अन्य लोगों के साथ मिलकर हत्या करना कबूल कर लिया।
पुलिस के मुताबिक शंका है कि गिरोह में तीन आरोपी और भी शामिल है। उनकी तलाश की जा रही है। आज पुलिस इसका खुलासा करेगी।
सिमगा क्षेत्र में आरोपी का खौफ, रंगदारी भी करता है
पुलिस को आरोपियों ने बताया कि व्यवसायी की हत्या सिमगा के फार्म हाउस में की। शव को ठिकाने लगाने अलग-अलग स्थानों में फेंक दिया।
फार्म हाउस सुनसान इलाके में होने की वजह से और आरोपियों की दहशत के कारण किसी ने पुलिस को सूचना नहीं दी।
आरोपियों ने पूरी प्लानिंग के तहत व्यवसायी की हत्या की है। नदी में शव की बोरी बहा देने की वजह से शरीर का बाकी हिस्सा अभी नहीं मिल पाया है। तलाश की जा रही।
डॉ.अभिषेक पल्लव,एसपी दुर्ग ने कहा- “अनहोनी की शंका होने पर पुलिस ने व्यवसायी के मोबाइल का डिटेल जुटाया। एएसपी संजय ध्रुव, आईपीएस निखिल रखेचा समेत सुपेला और स्मृति नगर पुलिस को जांच में लगाया गया। 6 आरोपियों हिरासत में ले लिया है। पूछताछ की जा रही है। प्राथमिक तौर पर लेन-देन को लेकर हत्या करने का पता चला है।“