ट्रंप की सख्ती के बाद न्यूयॉर्क में पाकिस्तानी होटल बंद, शहबाज सरकार के अरबों के मुनाफे पर लगा ब्रेक…

अमेरिका ने पाकिस्तान सरकार के स्वामित्व वाले रूजवेल्ट होटल में प्रवासी शरणार्थियों के लिए बनाए गए आश्रय स्थल को बंद करने का फैसला किया है।

इस होटल को चलाने के लिए न्यूयॉर्क सिटी सालाना 220 मिलियन डॉलर की रकम अदा कर रहा था।

यह कदम अमेरिकी करदाताओं के पैसे से प्रवासियों की सुविधा पर उठे विवाद के बाद लिया गया है। इस फैसले के पीछे ट्रंप समर्थक MAGA गुट और संघीय सरकार का दबाव बताया जा रहा है।

डेमोक्रेट मेयर एरिक एडम्स ने होटल बंद करने की घोषणा की। एरिक जो बाइडेन प्रशासन द्वारा लगाए गए भ्रष्टाचार के आरोपों के बाद ट्रंप के समर्थन में चले गए थे।

इस होटल में 1,025 कमरों में प्रवासियों को 200 डॉलर प्रति रात की दर से ठहराया जा रहा था।

मई 2023 में शुरू हुए इस आश्रय स्थल के लिए न्यूयॉर्क प्रशासन ने पाकिस्तान इंटरनेशनल एयरलाइंस के साथ तीन साल का 220 मिलियन डॉलर का करार किया था।

MAGA समर्थकों का विरोध और ट्रंप का हमला

2023 में जब हर हफ्ते लगभग 4,000 प्रवासी न्यूयॉर्क पहुंच रहे थे, तब इस होटल के बाहर कैंप लगाए प्रवासियों की तस्वीरों ने MAGA समर्थकों और न्यूयॉर्क के कुछ निवासियों को नाराज कर दिया। ट्रंप और उनके समर्थकों ने डेमोक्रेट सरकार पर “अवैध प्रवासियों को लग्जरी होटल में ठहराने” का आरोप लगाया।

रामास्वामी भी उठा चुके मुद्दा

ट्रंप समर्थक विवेक रामास्वामी भी इस पाकिस्तानी होटल का मुद्दा उठा चुके हैं। उन्होंने पिछले साल दिसंबर महीने में सोशल मीडिया पर लिखा था, “एक विदेशी सरकार के स्वामित्व वाला होटल अमेरिकी करदाताओं के पैसे से अवैध प्रवासियों को आश्रय दे रहा है। यह पागलपन है!”

ट्रंप ने हाल ही में भारत में मतदाता टर्नआउट प्रोग्राम के लिए 21 मिलियन डॉलर की अमेरिकी सहायता राशि का भी विरोध किया था।

उन्होंने आरोप लगाया कि बाइडेन प्रशासन ने न्यूयॉर्क के एक अज्ञात होटल को प्रवासियों के लिए 59 मिलियन डॉलर का भुगतान किया। एलन मस्क ने दावा किया था कि शहर प्रशासन “कमरों के लिए सामान्य दर से दोगुनी कीमत चुका रहा है”।

ट्रंप प्रशासन ने फ्रीज किए 80 मिलियन डॉलर

ट्रंप की जीत के बाद उनकी नई सरकार ने होटल में आपराधिक गतिविधियों का हवाला देते हुए न्यूयॉर्क सिटी के 80 मिलियन डॉलर की FEMA फंडिंग को फ्रीज कर दिया था। इस बीच, पाकिस्तान सरकार ने इस सौदे से पहले ही करोड़ों डॉलर कमा लिए थे।

अमेरिकी गृह सुरक्षा विभाग ने कहा कि FEMA “रूजवेल्ट होटल को फंड कर रहा था, जो ट्रेने डे अरागुआ गैंग का ठिकाना बन गया था और अमेरिकी नर्सिंग छात्रा लेकन राइली के हत्यारे को आश्रय देने में इस्तेमाल हुआ”।

इस वेनेजुएलाई आपराधिक गिरोह को अब विदेशी आतंकवादी संगठन घोषित कर दिया गया है।

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