बांग्लादेश में शेख हसीना सरकार के वक्त हनक दिखाने वाली अवामी लीग के नेताओं के दिन गर्दिश में चल रहे हैं।
बड़े पैमाने पर विरोध प्रदर्शन के कारण शेख हसीना सरकार का पतन हुए दो माह होने वाले हैं, लेकिन उनकी पार्टी अवामी लीग के नेता बुरे हालात में जीने को मजबूर हैं।
प्रदर्शन के दौरान अवामी लीग के कई नेताओं को अपनी जान गंवानी पड़ी, कइयों को देश छोड़ने की कोशिश में गिरफ्तार किया गया।
कई केंद्रीय नेता अभी भी अंडरग्राउंड हैं। ऐसी रिपोर्ट है कि कुछ नेताओं ने अपने घर लौटने की कोशिश की तो उन्हें इसके लिए लाखों रुपए चुकाने पड़े।
इसके बावजूद वे घरों में कैद रहने को मजबूर हैं। इसके लिए खालिदा जिया की पार्टी बीएनपी के नेताओं पर उगाही के आरोप लगे हैं।
शेख हसीना को बांग्लादेश छोड़े दो महीने होने को हैं। वह इस वक्त भारत में हैं और बांग्लादेश की यूनुस सरकार उन्हें वापस लाने के प्रयास कर रही है।
राजनयिक पासपोर्ट रद्द किया जा चुका है। हसीना के खिलाफ बांग्लादेश में 100 से ज्यादा मुकदमें हैं, जिनमें नरसंहार, हत्या और अपहरण समेत कई संगीन जुर्म हैं।
बांग्लादेश सरकार ने ऐलान किया है कि हसीना के खिलाफ मुकदमों की सुनवाई का लाइव प्रसारण किया जाएगा।
इस बीच बांग्लादेश में हसीना की अवामी पार्टी के नेताओं और कार्यकर्ताओं को लेकर चौंकाने वाली रिपोर्ट सामने आई है। बीबीसी की रिपोर्ट है कि अवामी लीग से जुड़े नेता और कार्यकर्ता बेहद बुरे हालात में जीने को मजबूर हैं।
डर के माहौल में जीने को मजबूर
बांग्लादेश में प्रदर्शन खत्म हो चुका है। लेकिन अभी भी अवामी लीग के नेताओं और कार्यकर्ताओं में डर का माहौल बना हुआ है।
यूनुस सरकार कह चुकी है कि अब देश में सबकुछ शांत है और सभी गतिविधियां सामान्य रूप से चल रही हैं। यूनुस सरकार के तमाम दावों के बावजूद देश में भय का माहौल अभी भी बना हुआ है।
अवामी लीग के कई नेता अभी भी अंडरग्राउंड हैं। हालांकि कइयों ने अपने इलाकों में लौटना शुरू कर दिया है।
घर लौटने के लिए चुकाने पड़ रहे लाखों
डेढ़ महीने से अधिक समय के बाद अब जब स्थिति थोड़ा शांत हो गई है तो अवामी लीग के नेताओं ने अपने इलाकों लौटना शुरू कर दिया है।
लेकिन घर लौटने के लिए उन्हें भारी रकम चुकानी पड़ रही है। आरोप है कि जो लोग पैसे नहीं दे रहे, उन्हें इलाके में घुसने नहीं दिया जा रहा है। यह भी पता चला है कि कुछ जगहों पर अवामी लीग के नेताओं पर हमले भी हुए हैं।
बीबीसी की रिपोर्ट के अनुसार, अवामी लीग के नेताओं ने बताया कि हाल ही में वे पैसे लेकर क्षेत्र में लौटे हैं और कुछ लौटने का इंतज़ार कर रहे हैं।
सभी ने सुरक्षा कारणों से अपनी पहचान छिपाकर रखी और अपने इलाकों का नाम भी नहीं बताया। हालांकि, उन्होंने यह जरूर कहा कि अपने घर लौटने के लिए उन्हें 10 लाख रुपए तक देने पड़े।
आरोप लगाया कि पैसे खालिदा जिया की पार्टी बीएनपी और इलाके के प्रभावशाली लोग उगाही कर रहे हैं।
नेताओं की आपबीती
अवामी लीग के सत्ता से बेदखल होने के बाद पार्टी के नेता और कार्यकर्ता डेढ़ महीने से अधिक समय से बेघर हैं। एक नेता ने बताया, “पैसे देकर घर लौटने के बावजूद मैं घर से बाहर नहीं निकल सकता। मुझे पूरे दिन घर के अंदर ही रहना पड़ रहा है।
मुझे बीएनपी सहित क्षेत्र के प्रभावशाली लोगों को पैसे देने पड़े।” हालांकि, बीएनपी नेताओं ने इस आरोप से इनकार किया है। दूसरी ओर, अवामी लीग के अधिकांश केंद्रीय नेता अभी भी अंडरग्राउंड रहने को मजबूर हैं।
कइयों ने देश छोड़ दिया। वहीं, कई इस कोशिश में गिरफ्तार भी हुए।