पाकिस्तान में जल्द आम चुनाव होने वाले हैं, तो प्रधान मंत्री शहबाज शरीफ ने अपना रंग बदलना शुरू कर दिया है।
पहले जमकर ऐश उड़ाई। आम पाकिस्तानियों की परवाह नहीं की। दूध से लेकर आटा-दाल और चावल के दाम आसमान तक पहुंचा दिए।
तमाम परेशानियों और कमर तोड़ महंगाई के बीच भी पाकिस्तान के वजीर-ए-आजम शहबाज शरीफ की हिम्मत दाद देने वाली है कि वे अब लोगों को ‘मुंगेरी लाल के हसीन सपने’ दिखा रहे हैं।
एक सभा को संबोधित करते हुए शहबाज ने कहा कि वे अब विदेशी कर्ज के भरोसे नहीं बैठ सकते। लोगों से पूछा कि सम्मान से जीना है या भीख मांगकर? इमरान खान को महाभ्रष्ट कहते हुए लोगों से आग्रह किया कि चुनावों में वोटिंग करने से पहले हमारी और उनकी सरकार के दौरान हुए कामों में फर्क जरूर करना। शहबाज ने अपने भगौड़ा घोषित भाई नवाज की तारीफ में भी कसीदें पढ़े। कहा कि नवाज ही पाकिस्तान को एशियाई बाघ बना सकते हैं।
दरअसल, मौका था पाकिस्तान अधिकृत पंजाब के शेखपुरा जिले के शारकपुर शहर में सड़क परियोजनाओं की आधारशिला रखने का।
यहां एक सभा को संबोधित करते हुए शहबाज शरीफ ने कहा कि पीएमएल-एन आगामी चुनावों में जनता के जनादेश को स्वीकार करेगा और अगर पार्टी को उनके भाई और पीएमएल-एन सुप्रीमो नवाज शरीफ के नेतृत्व में देश की सेवा करने का एक और मौका मिलता है तो पाकिस्तान की “वास्तविक छवि” को बहाल करने में कोई कसर नहीं छोड़ेंगे।
चुनाव नजदीक, परियोजनाओं की झड़ी
परियोजना में 35 अरब रुपये की लागत से काला शाह काकू को लाहौर-कराची मोटरवे से जोड़ने वाला 19 किमी लंबा लाहौर बाईपास शामिल है।
पीएम शहबाज़ ने लाहौर-कराची मोटरवे सागियान रोड और मुख्य रावी पुल के विस्तार के लिए भी जल्द जमीन तैयार करने का वादा किया।
बाद में, उन्होंने अब्दुल हकीम मोटरवे, कायद-ए-आज़म विश्वविद्यालय परिसर के साथ-साथ एक स्काउट कॉलेज में ईसान (शरकपुर) इंटरचेंज की आधारशिला रखी।
पाकिस्तान को एशियाई बाघ बनाएंगे नवाज
शहबाज शरीफ अपनी बातों में इतना खो गए कि उन्होंने अपने भाई और पाकिस्तान से भगौड़ा घोषित नवाज़ शरीफ़ को “पाकिस्तान का निर्माता और चीन-पाकिस्तान के बीच रिश्तों की कड़ी करार दिया।
शहबाज ने कहा कि वे चाहते हैं कि नवाज शरीफ पाकिस्तान आएं और देश की कमान अपने हाथ में लें। अगर ऐसा होता है तो पाकिस्तान अपनी वास्तविक छवि हासिल कर लेगा। शेघी बघारते हुए शहबाज ने कहा कि नवाज पाकिस्तान को ‘एशियाई बाघ’ बदलने की क्षमता रखते हैं।
मरान खान पर जमकर बरसे
प्रधान मंत्री ने पीटीआई प्रमुख इमरान खान के नब्बे दिनों के भीतर पाकिस्तान के बाहर जमा 300 अरब डॉलर वापस लाने के दावे पर भी सवाल उठाया।
कहा कि पीटीआई सरकार को अपने शासन के चार वर्षों के दौरान एक पैसा भी नहीं मिला। 50 अरब रुपये से जुड़े अल कादिर ट्रस्ट मामले का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा, यूके की राष्ट्रीय अपराध एजेंसी (एनसीए) ने इस मुद्दे की जांच की थी और दूसरे पक्ष के साथ अदालत के बाहर समझौते के बाद, राशि को सरकारी खजाने में वापस करने का फैसला किया, लेकिन यह राशि स्टेट बैंक ऑफ पाकिस्तान के पास नहीं गई और इसके बजाय सुप्रीम कोर्ट में गई, जहां इमरान सरकार एक पक्ष बनी हुई है।
युवाओं के लिए लैपटॉप योजना
शहबाज ने पाकिस्तान के बेरोजगार युवाओं के लिए वादों का पिटारा भी खोला। कहा कि उनके युवा कार्यक्रमों के तहत लगभग 80 अरब रुपये अलग रखे गए हैं।
यदि सरकार के पास अधिक संसाधन आते हैं, तो वह देश के युवाओं के लिए उन्हें आवंटित करने में संकोच नहीं करेंगे। पीएम शहबाज ने इस बात पर प्रकाश डाला कि लैपटॉप योजना के तहत छात्रों को उनकी कड़ी मेहनत के कारण गैजेट दिए गए।
उन्होंने कहा कि इस सुविधा के कारण बड़ी संख्या में युवा घर बैठे आजीविका कमा रहे हैं और शिक्षा प्राप्त कर रहे हैं। घोषणा की कि यदि पीएमएल-एन को देश की सेवा करने का एक और अवसर मिला, तो वे “लैपटॉप का नेटवर्क” फैलाएंगे।
शहबाज बोले- अब विदेशी कर्ज से भरोसा उठा
उन्होंने आगे कहा कि कीमतों में बढ़ोतरी ने गरीब लोगों पर बोझ डाला है, लेकिन सामूहिक कड़ी मेहनत, समर्पण और ईमानदारी से इन कठिनाइयों को दूर किया जा सकता है।
प्रधान मंत्री ने कृषि विकास, सूचना प्रौद्योगिकी, खनिजों की खोज आदि सहित अपनी सरकार की प्राथमिकताओं को भी रेखांकित किया।
उन्होंने दोहराया कि अब विदेशी ऋण पर जीवन नहीं जिया जा सकता है और इस बात पर जोर दिया कि देश के लोगों को यह तय करना होगा कि उन्हें सम्मान के साथ जीना है या भीख मांगकर जीना है।